#AjaEkadashi का व्रत vrat 15 अगस्त यानी शनिवार को पड़ रहा है। इस दिन भगवान विष्णु#Supremecourt : अवमानना केस में Senior Advocate #प्रशांतभूषण दोषी करार Vishnu की आराधना की जाती है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, जो व्यक्ति अजा एकादशी का व्रत vrat करता है उसके सभी पाप नष्ट हो जाते हैं। यह भी कहा जाता है कि इस व्रत का फल उससे भी ज्यादा होता है जो अश्वमेघ यज्ञ, कठिन तपस्या, तीर्थों में दान-स्नान आदि से प्राप्त होता है। अगर आप भी इस व्रत vrat को करना चाहते हैं तो हम आपको अजा एकादशी की पूजा-विधि बता रहे हैं।
व्रत-विधि
- इस व्रत vrat को करने के लिए आपको दशमी तिथि को सूर्यास्त के बाद भोजन ग्रहण नहीं करना चाहिए।
- फिर एकादशी के दिन सुबह सूर्योदय से पहले उठना चाहिए।
- नित्यकर्मों से निवृत्त होकर स्नानदी कर स्वच्छ वस्त्र पहन लें।
- एक चौकी लगाएं और उस पर पीले रंग का कपड़ा बिछाएं।
- चौकी के चारों तरफ कलावा बांधें।
- इस पर भगवान विष्णु Vishnu की प्रतिमा रखें। साथ ही माँ लक्ष्मी की भी प्रतिमा रखें।
- आप चौकी पर प्रतिमा की जगह फोटो भी रख सकते हैं।
- भगवान के माथे पर चंदन लगाएं और फिर दीपक जलाएं।
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- श्रीहरि को पीले फूल की माला चढ़ाएं। पुष्प अर्पित करें।
- विष्णु स्तुति, विष्णु Vishnu चालीसा और विष्णु सहस्त्रनाम का पाठ भी करें।
- अजा एकादशी व्रत की कथा पढ़ें।
- भगवान जगदीश की आरती करें।
- दिनभर निराहार रहें और शाम को फलाहार करें।
- रात्रि जागरण भी करें।
- द्वादशी तिथि यानि अगले दिन सुबह ब्राह्मण को भोजन कराएं। उन्हें अपनी सामार्थ्य के अनुसार दान-दक्षिणा भी दें।
- इसके बाद खुद भोजन करें।
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अगर आप किसी कारणवश व्रत नहीं कर पा रहे हैं तो आप मन में विष्णु भगवान का ध्यान करें। साथ ही सात्विक रहें। किसी की निंदा न करें और झूठ न बोलें।