RAHUL PANDEY
KANPUR
कोरोना (CORONA) की दूसरी वेब से हुई त्रासदी लगभग प्रशासन और जनता भूल गई है। लोगों और प्रशासन का गैर जिम्मेदाराना रवैया एक दफा फिर लोगों पर कहर बनकर गिर सकता है। डेढ़ महीने बाद कोरोना पॉजिटिव मरीजों में इजाफा हुआ है। अचानक 22 कोरोना पॉजिटिव पेशेंट सामने आने से स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप मच गया। बुधवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कानपुर में थे, और एक साथ 22 पॉजिटिव पेशेंट आने से स्वास्थ्य विभाग समेत जिला प्रशानिक अधिकारियों के हाथ-पैर फूल गए।
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तीसरी लहर की शुरूआत!
कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने कानपुर को कभी नहीं भूलने वाले गम दिए हैं। कोरोना संक्रमित मरीजों ने अस्पतालों के चौखट और एंबुलेंस में दम तोड़ा है। श्मशान घाटों और विद्युत शवदाह गृह में दिन-रात शवों को जलाया गया है। इस खौफनाक मंजर को याद कर लोग आज भी भयभीत हो जाते हैं। कानपुर में फिर से संक्रमण का खतरा मंडराने लगा है। अनलॉक होने के बाद कानपुर वासियों की लापरवाही का नतीजा है कि शहर में संक्रमण ने दस्तक दे दी है। शहरवासी इसे तीसरी लहर की शुरूआत मान रहे हैं।
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इन इलाकों में मिले पॉजिटिव केस
कानपुर के किदवई नगर, कल्यानपुर, शारदा नगर, बर्रा, रावतपुर, चमनगंज, गोविंद नगर, घाटमपुर, जरौली, जाजमऊ, सिविल लाइन, सजेती, जूही, बाबूपुरवा, मुंशीपुरवा, कर्नलगंज, मेडिकल कॉलेज परिसर में संक्रमित पाए गए हैं। यह सभी घनी अबादी वाले इलाके हैं, जहां पर कोरोना पॉजिटिव मिले हैं।
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जनता क्यों नहीं हो रही जागरूक
दूसरी लहर में घर में दुबकने को मजबूर लोग सरकार को कोस रहे थे। अब जब सरकार लगातार कह रही है कि संभल जाए तो कान के अंदर मास्क ठूंस लिया है। सोशल डिस्टेसिंग की धज्जियां उडाई जा रही हैं। वहीं पुलिस कमिश्नर भी लगभग सो रहे हैं। जब लहर शुरू होगी तब मास्क के चालान का आदेश देंगे। आखिर प्रशासन पहले से ही क्यों नहीं कडाई शुरू कर देता है।
ओवर कांफिडेंस प्रशासन पर भारी पड सकता है
वहीं शहर में कोरोना (corona) न होने के हो रहे दावे फेल साबित हो रहे हैं। सीएमओ नेपाल सिंह के दावे रहे कि कोरोना केस लगातार कम हो रहे हैं, जिससे लोग बेफिक्र हो गए। प्रशासन भी भूल गया कि कोरोना है और यही ओवर कांफिडेंस प्रशासन पर भारी पड सकता है। कोरोना की दूसरी लहर में भी प्रशासन की लापरवाही सामने आई थी जब होली के दौरान कोई गाइडलाइन नहीं जारी की गई। पुलिस कमिश्नर की अगुवाई में धूमधाम से गंगा किनारे होली मिलन समारोह आयोजित किया गया था। जहां गले मिलेकर बधाइयां दी जा रही थीं और सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उडाई जा रही थी। इसके बाद क्या हुआ सब जानते हैं। प्रशासन अपनी नाकामी का ठीकरा आम जनता पर फोड देगी।