नहीं था सुरक्षा का कोई इंतजाम
भोपाल के खटलापुरा घाट पर शुक्रवार को तड़के गणपति विसर्जन के दौरान नाव पलटने से कई लोग डूब गए। अभी तक 11 शव बरामद किए जा चुके हैं। नौ लोगों को बचा लिया गया है। पुलिस और प्रशासन के अधिकारी मौके पर पहुंच गए हैं। दो लोग अभी भी लापता बताए जाते हैं।
आर्थिक मदद देने की घोषणा
बताया जाता है कि पिपलानी इलाके में चल रहे समारोह के बाद लोग गणेश प्रतिमा का विसर्जन करने के लिए घटनास्थल पर पहुंचे थे। मूर्ति बड़ी होने की वजह से नाव का बैलेंस बिगड़ गया जिससे वह डूब गई। घटना की जानकारी मिलने के बाद एनडीआरएफ की टीम मौके पर पहुंच गई है। राज्य सरकार ने मृतकों के परिजनों को चार-चार लाख रुपए की आर्थिक मदद देने की घोषणा की है। वहीं घायलों को 50-50 रुपए की अनुग्रह राशि प्रदान की जाएगी।
सामने आ रही है लापरवाही
हादसे को लेकर गंभीर लापरवाही की बात सामने आ रही है। पहले भी यहां लोगों के डूबने की घटनाएं हो चुकी है। गणेश विसर्जन के दौरान यहां पुलिस की ओर से भी सुरक्षा का कोई इंतजाम नहीं था। इस बीच मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने इस घटना की मजिस्ट्रेटी जांच के निर्देश दिए हैं। जारी बयान में कहा गया है कि इस हादसे में जिसकी भी लापरवाही सामने आएगी उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
होमगार्ड और राज्य आपदा बचाव दल (एसडीआरएफ) का मुख्यालय
प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, दो नावें आपस में जुड़ी थीं, इन पर 22-23 लोग सवार थे। सभी लोग 27-28 साल उम्र के थे। कोई भी लाइफ जैकेट नहीं पहने था। सबसे पहले एक नाव पलटी तो इस पर सवार लोग दूसरी पर कूद गए। इसके बाद दूसरी नाव का संतुलन भी बिगड़ गया और दोनों नावें डूब गईं। यह घटना जिस जगह पर हुई वहां मध्य प्रदेश होमगार्ड और राज्य आपदा बचाव दल (एसडीआरएफ) का मुख्यालय भी बताया जाता है।