मां दुर्गा का स्मरण कर लेने मात्र से ही भक्तों के सभी कष्ठ दूर हो जाते हैं
ऐसी मान्यता है कि नवरात्रि में मां दुर्गा का स्मरण कर लेने मात्र से ही भक्तों के सभी कष्ठ दूर हो जाते हैं। नवरात्रि में कुछ ऐसे मंत्र हैं, जिनका जाप करने से अभिष्ठ कार्य की सिद्धि होती है और पूजा का कई गुना फल मिलता है।
व्याधि, रोग, पीड़ा और दरिद्रता को नष्ट हो जाती है
आज उस एक दुर्गा मंत्र के बारे में बता रहे हैं, जिसका पूरी नवरात्रि या फिर किसी एक दिन जाप कर लेने से मां प्रसन्न हो जाती हैं। मां की कृपा से भक्तों की व्याधि, रोग, पीड़ा और दरिद्रता को नष्ट हो जाती है, भक्तों को उत्तम स्वास्थ्य और धन संपत्ति का वरदान प्राप्त होता है।
दुर्गा मंत्र
दुर्गे स्मृता हरसि भीतिमशेषजन्तो:
स्वस्थै:स्मृता मतिमतीव शुभां ददासि।
दरिद्रायदु:खभयहारिणी का त्वदन्या
सर्वोपकारकरणाय सादर्द्रचित्ता।।
मंत्र का अर्थ
मां दुर्गे आप स्मरण करने पर सब प्राणियों का भय हर लेती हैं और स्वस्थ जीवन प्रदान करती हैं। स्वस्थ पुरुषों द्वारा चिन्तन करने पर उनको परम कल्याणमयी बुद्धि प्रदान करती हैं। दुःख, दारिद्रता और भय हरने वाली हे देवी मां, आपके सिवाय दूसरा कौन है, जिसका चित्त और मन सभी का उपकार करने के लिए सदा ही दयार्द्र रहता हो।