Guruvar Vrat Katha: विवाहित स्त्रियां और अविवाहित लड़कियां गुरुवार का व्रत करती हैं। इस व्रत को करने से विवाहित स्त्रियां को सुख और सौभाग्य की प्राप्ति होती है।
नवविवाहित स्त्रियों को संतान की प्राप्ति होती है। Guruvar Vrat Katha वहीं, अविवाहित युवतियों की शीघ्र शादी हो जाती है। साथ ही कुंडली में गुरु मजबूत होता है। कुंडली में गुरु मजबूत होने से जातक को करियर और कारोबार में मन मुताबिक सफलता मिलती है। अगर आप भी गुरुवार का व्रत करती हैं, तो पूजा के समय ये व्रत कथा अवश्य पढ़ें या सुनें।Guruvar Vrat Katha
दलालों से नहीं ली दवाई तो पिट गए मरीज, रिपोर्ट दर्ज
कानपुर कमिश्नर के नाम लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड
व्रत कथा (Guruvar Vrat Katha)
प्राचीन समय की बात है। किसी नगर में एक साहूकार रहता था। साहूकार के पास किसी चीज की कमी नहीं थी। हालांकि, साहूकार की धर्म पत्नी कृपण थी। वह दान-पुण्य में विश्वास नहीं करती थी। साहूकार की धर्म पत्नी का मानना था कि धन दान-पुण्य के लिए नहीं, बल्कि भोग के लिए होता है। एक दिन साहूकार के घर भिक्षा हेतु एक सन्यासी आए। उन्होंने भिक्षा देने की याचना की। Guruvar Vrat Katha साहूकार की पत्नी ने भिक्षा देने से मना कर दिया। उस समय साधु ने भिक्षा न देने का औचित्य जानना चाहा। तब साहूकार की पत्नी बोली- ऐसे धन का ना होना चाहिए, जो दूसरों के काम आए। इस तरह के धन संचय का क्या लाभ है? अगर आप सच में सिद्ध साधु हैं, तो धन नष्ट होने के उपाय बताएं। पति के परोपकार से परेशान हो गई हूं।
जानें, 26 जुलाई को ही क्यों मनाया जाता है करगिल विजय दिवस?
फिल्म ‘दोनों’ का टीजर रिलीज, पूनम ढिल्लों की बेटी से लड़ाएंगे इश्क
Guruvar Vrat Katha उस समय साधु ने कहा- बेटी, तुम गुरुवार के दिन तामसिक भोजन करना, बाल और वस्त्र धोना, रसाई बनाकर खाना चूल्हे के पीछे रखना। साथ ही गुरुवार के दिन पीले चीजों का सेवन न करना, पीले वस्त्र भी न पहनना और गुरुवार के दिन बाल-नाखून काटना। इन उपायों को करने से पति के परोपकार से तुम्हें मुक्ति मिल जाएगी। Guruvar Vrat Katha साहूकार की पत्नी ने साधु के वचनों का पालन किया। समय के साथ साहूकार अमीर से गरीब हो गया। साहूकार के घर में खाने के लाले पड़ गए। कुछ महीनों के पश्चात पुनः वही साधु दोपहर के समय में साहूकार के घर भिक्षा हेतु आए। साधु को देख साहूकार की पत्नी रोने लगी। तब साधु ने साहूकार की पत्नी से रोने का कारण पूछा।
मारपीट के विरोध में हड़ताल पर लेखपाल
ईशान किशन ने ऋषभ पंत के बल्ले से लगाया करियर का पहला टेस्ट अर्धशतक?
Guruvar Vrat Katha साहूकार की धर्म पत्नी बोली- सब कुछ लूट गया, मैं तो बर्बाद हो गई। घर में कुछ नहीं बचा। अब तो आपको क्या दूँ, स्वयं के खाने के लिए गृह में अन्न नहीं है। यह जान साधु ने कहा-बेटी, तुम गुरुवार का व्रत विधिवत करो। जगत के पालनहार भगवान विष्णु सबका उद्धार करते हैं। तुम्हारा भी उद्धार करेंगे। साधु के वचनानुसार, साहूकार की पत्नी ने गुरुवार का व्रत किया। इस व्रत के पुण्य प्रताप से साहूकार पुनः धनवान बन गया।