सोमवार को कोर्ट में UTTAR PRADESH के एडीजी कानून-व्यवस्था प्रशांत कुमार, गृह सचिव तरुण गाबा व हाथरस के तत्कालीन पुलिस अधीक्षक HIGHCOURT में पेश हुए। इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच में हाथरस कांड की अगली सुनवाई के लिए 25 नवंबर की तारीख तय की गई है।
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वरिष्ठ पुलिसकर्मियों की भूमिका पर सवाल
मामले की जांच कर रही एसआईटी ने सोमवार को उत्तर प्रदेश सरकार को अपनी जांच रिपोर्ट सौंप दी। सूत्रों के अनुसार एसआईटी की रिपोर्ट में वरिष्ठ पुलिसकर्मियों की भूमिका पर सवाल उठाए गए हैं। एसआईटी ने रिपोर्ट में कई सुझाव भी दिए हैं, ताकि घटना की पुनरावृत्ति भविष्य में फिर कभी न हो। बता दें कि हाथरस कांड की जांच के लिए प्रदेश सरकार ने तीन सदस्यीय कमेटी का गठन किया था।
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मामला
हाथरस के चंदपा थाना क्षेत्र के एक गांव में बीते 14 सितंबर को एक युवती के साथ कथित रूप से सामूहिक दुष्कर्म किया गया था। इस मामले में चार लोगों को गिरफ्तार किया गया। चारों आरोपी फिलहाल अलीगढ़ जिला कारागार में हैं। पहले अलीगढ़ जिला अस्पताल में भर्ती होने के बाद युवती को जेएन मेडिकल कॉलेज रेफर किया गया। हालत बिगड़ने पर उसे दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल भेजा गया, जहां 29 सितंबर को युवती ने दम तोड़ दिया। इसके बाद प्रशासन ने जल्दबाजी में आधी रात को ही उसका अंतिम संस्कार करा दिया था।