भद्रा में शुभ कार्य करना वर्जित माना गया है
#RakshaBandhan : ज्योतिषाचार्य के अनुसार इस वर्ष 29 वर्ष बाद रक्षाबंधन का पर्व श्रावण के पांचवें और अंतिम सोमवार के दिन पड़ रहा है। इस दिन रक्षाबंधन का शुभ संयोग पड़ रहा है।
भद्रा काल में राखी बांधना अशुभ
ज्योतिषाचार्य के अनुसार दो अगस्त रात्रि 8:36 से तीन अगस्त सुबह 8:31 बजे तक भद्रा काल रहेगा। इसमें राखी बांधना शुभ नहीं है। भद्रा सूर्य की पुत्री है और शनि की बहन, जो इस बार रक्षाबंधन के दिन सुबह 9:29 बजे तक रहेगी। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार भद्रा में शुभ कार्य करना वर्जित माना गया है। भद्रा की समाप्ति के बाद ही बहन अपने भाई की कलाई पर रखी बांधें। अगस्त की तीन तारीख को सुबह 7:20 बजे तक उत्तराषाढ़ नक्षत्र है और उसके बाद श्रवण नक्षत्र लग जाएगा। रक्षा बंधन के लिए सुबह 9:30 बजे से रात्रि 9:14 तक विशेष मुहुर्त रहेगा। इस दौरान बहन अपनी भाई को किसी भी समय राखी बांध सकेंगी।
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राशियों के अनुसार बांधे रक्षासूत्र
मेष: राशि के लोग लाल रंग की डोरी/राखी बांधें।
वृषभ : चांदी की या सफेद रंग की, मिथुन हरे धागे या हरे रंग की राखी।
कर्क : सफेद, क्रीम धागों से बनी मोतियों वाली राखी,
सिंह : गोल्डन रंग या पीले, नारंगी राखी।
कन्या : हरा या चांदी जैसा धागा या राखी बांधे।
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तुला : शुक्र का रंग फिरोजी, सफेद, क्रीम रंग की राखी।
वृश्चिक : इस राशि के भाई के लिए लाल गुलाबी और चमकीली राखी या धागा चुने।
धनु : गुरु का पीताम्बरी रंग की पीली रेशमी डोरी।
मकर : ग्रे या नेवी ब्लू रुमाल से सिर ढकें, नीले रंग के मोतियों वाली राखी।
कुंभ: आसमानी या नीले रंग की डोरी से बनी राखी या डोरी भाग्यशाली रहेगी।
मीन : लाल, पीली या संतरी रंग की राखी बांधे। शुभ रहेगा।