तेजी से फैलता ‘#Nipah’ वायरस ,पहचानें लक्षण और तुरंत करें बचाव
‘#Nipah’ वायरस एक तरह का संक्रमित रोग है। मेडिकल टर्म में इसे NiV भी कहा जाता है। यह वायरस एक जानवर से फलों में और फलों के जरिए व्यक्तियों में फैलता है। इस गंभीर संक्रमण की चपेट में आने से इंसान की मौत भी हो सकती है। सबसे ज्यादा चिंता की बात यह है कि अभी तक इस बीमारी का कोई स्टिक इलाज भी नहीं हैं। बचाव के जरिए ही इससे दूर रहा जा सकता है।
कहां से शुरू हुआ यह वायरस
केरल में एक ही परिवार के तीन लोगों की निपाह वायरस की मौत हो गई है। भारत में इस वायरस का मामला पहली बार नहीं बल्कि इससे पहले साल 2001 के जनवरी और फरवरी माह में पश्चिम बंगाल के सिलिगुड़ी में दर्ज किया गया था। इस साल में लगभग 66 लोग इस खतरनाक वायरस की चपेट में आ गए थे, जिनमें से 45 लोगों की मौत भी हो गई थी। इसके बाद 2007 में पश्चिम बंगाल के नदिया में निपाह वायरस का दूसरा मामला दर्ज किया गया था। अब हाल ही में केरल से आए निपाह वायरस के मामले बढ़ते ही जा रहे हैं और सरकार भी इस विषय को लेकर चिंता में है। केन्द्र की तरफ से इससे बचने के लिए कोशिशे तेजी से शुरू कर दी गई हैं। निपाह वायरस का मामला सबसे पहले सिंगापुर और मलेशिया में 1998 -1999 में सामने आया था। सिंगापुर में इस वायरस के कारण एक व्यक्ति की मौत हो जाने पर उसके गांव कांपुंग सुंगई निपाह के नाम से ही इस संक्रमण का नाम भी निपाह वायरस रख दिया गया।
क्या है निपाह वायरस
- यह वायरस जानवरों से इंसानों में फैलता है यानि निपाह वायरस चमगादड़ से फलों में और फलों से इंसानों और जानवरों में फैलता है।
- इस जानलेवा वायरस की चपेट में आने से इंसान को गंभीर परेशानियों से भी गुजरना पड़ सकता है।
- यह खतरनाक वायरस एक इंसान से दूसरे इंसान में फैलने का भी डर रहता है।
- खजूर के खेतों में काम करने वालों में भी निपाह वायरस फैलने का खतरा ज्यादा होता है।
- जिससे मौत भी हो सकती है।
लक्षण
- निपाह वायरस की चपेट में आने वाले इंसान में एन्सेफलाइटिस सिड्रोम के जरिए यह वायरस तेजी से फैलता है।
- जिससे तेज बुखार,दिमाग या सिर में तेज जलन,दिमाग में सूजन और दर्द,मानसिक भ्रम, सांस लेने में परेशानी होती है।
- संक्रमण बढ़ने से मरीज कोमा में भी जा सकता है, इसके बाद इंसान की मौत हो जाती है।
बचाव के तरीके
- अब तक हुई जांच के मुताबिक इस वायरस से बचने के लिए कोई वैक्सीन अभी नहीं बनी है लेकिन कुछ बातों का ख्याल रखकर ही खुद का बचाव किया जा सकता है। इसके लिए वायरस के बारे में जानकारी होना बहुत जरूरी है। खजूर की खेती करने वालो में यह संक्रमण तेजी से फैलता है।
- सुअर और चमगादड़ों से दूर रहें।
- निपाह के संक्रमित रोगी से दूरी बनाए
- खजूर के फल को खाने से परहेज करना चाहिए।
- पेड़ से गिरे फल को नहीं खाना चाहिए।