आने वाले लोगों की भी उचित जांच की जानी चाहिए
#UttarPradesh : उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने राज्य में महिला आश्रय गृहों, अनाथालयों और जूवेनाइल होम्स में रह रहे लोगों व कर्मचारियों की थर्मल स्क्रीनिंग करने का आदेश दिया है।
मुख्य सचिव ने आदेश दिया कि संवासनी गृहों, नारी निकेतन, अनाथालयों और जूवेनाइन होम में कर्मचारी सहित सभी लोगों की जांच के लिए अवरक्त थर्मामीटर उपलब्ध कराया जाएगा। उन्होंने कहा कि सर्दी, खांसी या बुखार वाले किसी भी व्यक्ति को इन स्थानों में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए।
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प्रदेश के मुख्य सचिव राजेंद्र कुमार तिवारी ने सोमवार रात को कोरोना वायरस के प्रसार की जांच के लिए आवश्यक सभी एहतियातों को लागू करने के सख्त आदेश जारी किए। यह निर्णय कानपुर में एक सरकारी संवासनी गृह में 57 लड़कियों के कोविड-19 संक्रमित होने के बाद आया है।
मुख्य सचिव ने आगे निदेर्श दिया कि साफ-सफाई और स्वच्छता बनाए रखने के लिए वहां रह रहे लोगों को साबुन और डिटर्जेंट पाउडर प्रदान किया जाना चाहिए।
उन्होंने कहा कि इन सुविधाओं में रहने वालों को अपने चेहरे को ढंकने के लिए मास्क और रूमाल उपलब्ध कराने चाहिए।
सामाजिक दूरी के मानदंडों का कड़ाई से पालन कराया जाना चाहिए। कैदियों के आगंतुकों की संख्या कम से कम रखी जानी चाहिए और अगर मिलना अतिआवश्यक है तो आने वाले लोगों की भी उचित जांच की जानी चाहिए।
इन निदेर्शों के कड़ाई से पालन करने के लिए पत्र को अतिरिक्त मुख्य सचिव और समाज कल्याण और महिला और बाल विकास विभागों के प्रमुख सचिवों को जारी किया गया है।